नौकरी, बिजनेस और लीडरशिप तीनों देता है हर्बलधारा -हर्बलधारा की ट्रेन में सवार व्यक्ति पहले लखपति फिर करोड़ पति के सफर को करता है पूरा नोएडा के सूरज पूर में ट्रेनिंग देते ग्रेट लीडर देवेश सेंगर -नोएडा के सूरजपुर में हुई ट्रेनिंग सेमीनार में बोले बिजनेस गुरु नोएड (उप्र)। ‘नौकरी’ शब्द से ही ऐसा प्रतीत होता है कि हमारी प्रतिभा को प्रतिबंधित कर दिया गया हो। मतलब यह है कि नौकरी क्यों करी, गर्ज पड़ी त्यों करी। वाकई जिस व्यक्ति के पास प्रतिभा की कमी है। जो एक सीमित प्लान के साथ अपनी जिन्दगी को काटना चाहते हैं। वह ही नौकरी जैसी व्यवस्था में विश्वास करते हुए पहले तो नौकरी पाने के लिए अपने कीमती समय को बार्बाद करते हैं और फिर अपनी जिन्दगी को बतौर बोझ समते काट देते हैं। जबकि कुछ व्यापार में रुचि रखते हैं और छोटे स्केल से शुरु होने वाले अपने बिजनेस को सफलता के चरम पर ले जाते हैं, लेकिन कुछ उच्चकोटि की सोच रखते हैं जो लीडर कहलाते हैं और लोगों को सिखाते हुए अपने सपनों से भी कई हजार गुना पैसा कमाते हैं, बिल्की लोगों को करोड़ पति बनाने में एक अहम भूमिका निभाते हुए बिजनेस गुरु कह लाते ह...